छत्तीसगढ़ में स्वास्थ्य के क्षेत्र में आयुष्मान आरोग्य मंदिर वरदान साबित हो रहे हैं।

 



रायपुर। छत्तीसगढ़ में स्वास्थ्य सुविधाओं के विस्तार के प्रति राज्य सरकार बेहद संवेदनशील है। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने राज्य में स्वास्थ्य सुविधाओं के विस्तार के लिए स्वास्थ्य बजट को दोगुना करने का लक्ष्य रखा है। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल सजगता से स्वास्थ्य सेवाओं को बढ़ावा देने का काम कर रहे हैं। राज्य स्तर पर जहां डीकेएस और मेकाहारा जैसे अस्पतालों को अत्याधुनिक तकनीकों से लैस किया जा रहा है, वहीं संभाग स्तर पर सुपर स्पेशियलिटी अस्पतालों का काम लगातार जारी है। इसी तरह जिला और ब्लॉक स्तर पर आयुष्मान आरोग्य मंदिर राज्य के लोगों के स्वास्थ्य का विशेष ख्याल रख रहे हैं। वर्तमान में छत्तीसगढ़ में कुल 400 आयुष्मान आरोग्य मंदिर संचालित हैं। आयुर्वेद के मूल सिद्धांतों की सामान्य जानकारी और बीमारियों के घरेलू उपचार और दवाओं की जानकारी देने में ये आयुष्मान आरोग्य मंदिर बेहद मददगार साबित हो रहे हैं।

 

इसके तहत आयुष पद्धति के माध्यम से कुल 12 सेवाएं क्रियान्वित की जा रही हैं, जिससे मरीजों को लगातार लाभ मिल रहा है। आयुष्मान आरोग्य मंदिर में योग प्रशिक्षकों के माध्यम से आम जनता को भी प्रतिदिन योगाभ्यास के लिए प्रेरित व प्रशिक्षित किया जा रहा है, ताकि मरीज शारीरिक व मानसिक रूप से स्वस्थ रहें। आयुष्मान आरोग्य मंदिर में सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी (सीएचओ) द्वारा मरीजों का निरंतर उपचार व देखभाल की जा रही है। राज्य सरकार की इस पहल से लोगों को निरंतर लाभ भी मिल रहा है।

 

आयुष्मान आरोग्य मंदिर में प्रतिवर्ष 1 करोड़ 38 लाख ओपीडी मरीजों व 3 लाख एनसीडी मरीजों का उपचार किया जा रहा है, जो अपनी सफलता की कहानी खुद बयां करता है। आयुष्मान आरोग्य मंदिर में दी जाने वाली मुख्य 12 स्वास्थ्य सेवाओं में गर्भावस्था व प्रसव के दौरान देखभाल, नवजात व शिशु स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं, बाल व किशोर स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं, परिवार नियोजन गर्भनिरोधक सेवाएं व अन्य प्रजनन स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं, राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रमों सहित संचारी रोगों का प्रबंधन, सामान्य संचारी रोगों का प्रबंधन तथा तीव्र सामान्य बीमारियों व छोटी बीमारियों के लिए बाह्य रोगी देखभाल शामिल हैं। इसी प्रकार, गैर-संचारी रोगों की जांच, रोकथाम, नियंत्रण और प्रबंधन, सामान्य नेत्र और ईएनटी समस्याओं की देखभाल, बुनियादी मौखिक स्वास्थ्य देखभाल, जराचिकित्सा और उपशामक स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं, आपातकालीन चिकित्सा सेवाएं और मानसिक स्वास्थ्य विकारों की जांच और बुनियादी प्रबंधन जैसी सेवाएं भी शामिल हैं।




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